Menu
blogid : 18111 postid : 1338111

ICAI फाउंडेशन डे पर मोदी जी का भाषण और मीडिया की गलत बयानी

AGLI DUNIYA carajeevgupta.blogspot.in
AGLI DUNIYA carajeevgupta.blogspot.in
  • 88 Posts
  • 161 Comments
हर साल १ जुलाई को इंस्टिट्यूट ऑफ़ चार्टर्ड एकाउंटेंट्स ऑफ़ इंडिया (ICAI) का स्थापना दिवस मनाया जाता है. १९४९ में इसी दिन ICAI की स्थापना हुई थी. यह फॉउंडेशन डे हर साल मनाया जाता है और सरकार के कोई न कोई वरिष्ठ मंत्री इसमें मुख्य अतिथि के तौर पर आते रहे हैं. इस बार पी एम् मोदी खुद इस कार्यक्रम में मुख्य अतिथि थे, जिसके चलते इस कार्यक्रम में न सिर्फ मोदी जी खुद शरीक हुए, बल्कि वित्त मंत्री अरुण जेटली समेत मोदी सरकार के लगभग दर्ज़न भर मंत्री, कई राज्यों के मुख्य मंत्री और वित्त मंत्रालय के कई बड़े अधिकारी भी मौजूद थे. इत्तेफ़ाक़ से १ जुलाई के दिन ही GST लागू होने की वजह से मोदी सरकार ने इस मौके का पूरा फायदा उठाने की कोशिश भी की. अपने एक घंटे के भाषण में पी एम मोदी ने क्या कहा, वह अलग से बहस का मुद्दा हो सकता है और उस पर टिप्पणी करना इस लेख का उद्देश्य नहीं है.

मेन स्ट्रीम मीडिया की घटती विश्वसनीयता पर मैंने पहले भी कई बार सवाल उठाये हैं. इस कार्यक्रम की रिपोर्टिंग को लेकर एक बार फिर मीडिया की विश्वसनीयता सवालों के घेरे में आ गयी है. दरअसल इस कार्यक्रम में चार्टर्ड एकाउंटेंट्स और स्टूडेंट्स को निमंत्रण पत्र भेजकर बुलाया गया था. इंदिरा गाँधी स्टेडियम में जितनी सीटें थीं, उतने ही निमंत्रण पत्र भेजे गए थे. स्टेडियम में चार्टर्ड एकाउंटेंट्स का प्रवेश गेट नंबर ४ से होना था और स्टूडेंट्स का प्रवेश गेट नंबर ७ और ८ से होना था. कार्यक्रम का आयोजन ICAI की सेन्ट्रल कौंसिल ने किया था. सभी चार्टर्ड एकाउंटेंट्स और स्टूडेंट्स को यह सलाह भी दी गयी थी कि वे लोग स्टेडियम में अपनी अपनी सीटें दोपहर ३ बजे तक जरूर ग्रहण कर लें. जब तय कार्यक्रम के मुताबिक़ चार्टर्ड एकाउंटेंट्स और स्टूडेंट्स अपने हाथ में निमंत्रण पत्र लेकर स्टेडियम पहुंचे तो आयोजकों ने स्टूडेंट्स के लिए तो गेट नंबर ७ और ८ से प्रवेश करने दिया लेकिन किसी भी चार्टर्ड अकाउंटेंट को स्टेडियम के अंदर ही नहीं जाने दिया. चार्टर्ड एकाउंटेंट्स ३ बजे से लेकर ५ बजे तक गेट नंबर ४ पर लाइन लगाकर गेट खुलने का इंतज़ार करते रहे लेकिन जब आखिर तक गेट नहीं खुला तो कुछ चार्टर्ड एकाउंटेंट्स ने वहां पर शोर शराबा भी किया और गेट पर लगे बैनर को भी फाड़ डाला. कुछ नए और अति उत्साही चार्टर्ड अकाउंटेंट गेट के ऊपर से कूदकर स्टेडियम में चले गए जिसका अंदर पुलिस और सिक्योरिटी ने विरोध भी किया और इसके चलते झगडे – फसाद जैसा माहौल बन गया. यह सब ६८ साल के इतिहास में पहली बार हो रहा था. मैं खुद एक चार्टर्ड अकाउंटेंट हूँ और वहां गेट संख्या ४ पर खड़ा कार्यक्रम के आयोजकों की इस “सोची समझी बदइंतज़ामी” को देखकर स्तब्ध था. आखिर में हुआ यही कि ICAI फॉउंडेशन डे बिना किसी चार्टर्ड अकाउंटेंट के ही पी एम् मोदी, उनके मंत्रियों और अफसरों की मौजूदगी में मना लिया गया. गेट नंबर ४ पर अपने हाथों में निमंत्रण पत्र लिए खड़े लगभग ३००० चार्टर्ड एकाउंटेंट्स कार्यक्रम में शिरकत किये बिना ही अपने अपने घर वापस लौट आये. स्टेडियम के अंदर सिर्फ वे ही चार्टर्ड अकाउंटेंट “पिछले दरवाज़े” से पहुंचने में कामयाब हुए थे, जो कि ICAI सेंट्रल कौंसिल मेंबर्स के दोस्त, रिश्तेदार या जान पहचान वाले रहे होंगे. सेंट्रल कौंसिल के सदस्य खुद भी चार्टर्ड अकाउंटेंट होते हैं.

यहां जो कुछ भी मैंने लिखा है, मीडिया में वह सब कुछ तो नहीं बताया गया लेकिन इसी घटना की एक मनगढंत कहानी बनाकर उसे खबर के तौर पर पेश कर दिया गया. ख़बरों में यह बताया गया कि चार्टर्ड एकाउंटेंट्स GST के खिलाफ थे, उसका विरोध कर रहे थे, उसी विरोध के चलते उन्होंने शोर शराबा और झगड़ा फसाद किया और गेट नंबर ४ पर लगे बैनर को भी फाड़ डाला. देश में कोई भी टेक्स लगे, उससे तो चार्टर्ड एकाउंटेंट्स को फायदा ही होता है क्योंकि उनसे ज्यादा लोग सलाह लेने आते हैं, फिर वे लोग उसका विरोध क्यों करेंगे? इस बात को सरकार भी मानती है कि कोई भी कर प्रणाली चार्टर्ड एकाउंटेंट्स के सहयोग के बिना सफल नहीं हो सकती है. इस मनगढंत खबर को मेन स्ट्रीम मीडिया किसके इशारे पर दिखा रहा था, यह एक बड़ा सवाल है.

इस घटना और कार्यक्रम मैं खुद एक प्रत्यक्षदर्शी के तौर पर मौजूद था, मुझे मीडिया में आयी इस गलत खबर पर हैरानी भी हुई और साथ ही साथ यह भी लगा कि मीडिया की विश्वसनीयता देश में पूरी तरह सवालों के घेरे में आ चुकी है जिसे अगर जल्द ही नही सुधारा गया तो उसका सबसे ज्यादा नुक्सान मेन स्ट्रीम मीडिया को ही होने वाला है. क्योंकि इसी गलत खबर को कई अलग अलग मीडिया वालों ने छापा और दिखाया, उससे यह भी बात साबित होती है कि यह गलत बयानी मीडिया ने किसी न किसी के इशारे पर ही की होगी.

Read Comments

    Post a comment

    Leave a Reply

    Your email address will not be published. Required fields are marked *

    CAPTCHA
    Refresh